बिजनौर। उत्तर प्रदेश के बिजनौर में लोगों को संशोधित नागरिकता कानून (सीएए) के खिलाफ शाहीन बाग जैसे आंदोलन के लिए उकसाने के आरोप में पुलिस ने इस्लामिक चरमपंथी संगठन पॉपुलर फ्रंट ऑफ इंडिया (पीएफआई) के चार सदस्यों को गिरफ्तार किया है। पुलिस के अनुसार, गिरफ्तार आरोपितों ने पूछताछ में स्वीकार किया है कि वे लोगों को आंदोलन और दंगे के लिए उकसा रहे थे।

 क्षेत्राधिकारी चांदपुर, राकेश श्रीवास्तव ने सोमवार को बताया कि एसआई सतीश कुमार और मदनपाल सिंह ने मुखबिर की दी गई सूचना के आधार पर रविवार को पुरानी बास्टा चुंगी से बिजनौर कोतवाली निवासी कारी निसार और उसके तीन साथी आरिफ, दिलशाद और इदरीस को गिरफ्तार किया। ये चारों पीएफआई के सदस्य हैं। इनके पास से पीएफआई की प्रचार सामग्री बरामद हुई है।

पुलिस के मुताबिक,  इन चारों आरोपितों पर पहले से ही मुकदमे दर्ज हैं। उन्होंने स्वीकार किया है कि वे लोगों को सांप्रदायिक दंगे के लिए उकसाने के साथ-साथ सीएए के विरोध के लिए शाहीन बाग जैसे आंदोलन के लिए भी गुपचुप रूप से सक्रिय थे।

गौरतलब है कि उत्तर प्रदेश के कार्यवाहक डीजीपी हितेश चंद्र अवस्थी, अपर मुख्य सचिव गृह अवनीश अवस्थी और एडीजी/डीजी कानून-व्यव्स्था पीवी रामाशास्त्री ने सोमवार सुबह प्रेसवार्ता में बताया था कि प्रदेश में पिछले चार दिनों में विशेष अभियान में पीएफआई के 108 सदस्यों को गिरफ्तार किया गया है जिनमें पांच बेहद सक्रिय हैं। राज्य में पहले भी पीएफआई के 25 पदाधिकारी और सदस्य गिरफ्तार किए जा चुके हैं। पीएफआई प्रदेश के 13 जनपदों में सक्रिय है।

 

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