नयी दिल्ली, 23 फरवरी। संसद के दोनों सदनों की संयुक्त बैठक को संबोधित करते हुये राष्ट्रपति ने सरकार की विभिन्न सामाजिक सुरक्षा योजनाओं, साथ ही सार्वजनिक क्षेत्र के बैंकों की स्थिति में सुधार लाने के लिये उठाये गये कदमों का उल्लेख किया।
प्रधानमंत्री जनधन योजना को दुनिया का सबसे सफलतम वित्तीय समावेश कार्यक्रम बताते हुये राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी ने कहा कि योजना के तहत 21 करोड़ खाते खोले गये जिनमें 32,000 करोड़ रूपये की राशि जमा है। उन्होंने यह भी कहा कि विदेशों में रखे कालेधन की समस्या पर अंकुश लगाने के लिये सरकार ने जो कदम उठाये उनके परिणाम दिखने लगे हैं।
राष्ट्रपति ने कहा प्रधानमंत्री मुद्रा योजना के तहत अब तक 2.6 करोड़ उद्यमियों को एक लाख करोड़ रूपये से अधिक धन वितरित किया गया है। इनमें 2.07 करोड़ महिला उद्यमी हैं। सरकार ने खाद्य सुरक्षा, सभी के लिये आवास और सब्सिडी पर काफी ध्यान दिया है ताकि जिन्हें इनकी सबसे ज्यादा आवश्यकता है इनका लाभ उन तक पहुंचाया जा सके। प्रधानमंत्री जनधन योजना केवल बैंक खाते खोलने तक ही सीमित नहीं रही बल्कि यह मूलभूत वित्तीय सेवाओं और गरीबों को सुरक्षा उपलब्ध कराते हुये गरीब उन्मूलन का महत्वपूर्ण साधन बन गई है।
राष्ट्रपति ने कहा, ‘‘आज मैं यह गर्व के साथ कह सकता हूं कि यह दुनिया का सफलतम वित्तीय समावेशी कार्यक्रम है। इस कार्यक्रम के अंतर्गत खोले गये 21 करोड़ से भी अधिक खातों में से 15 करोड़ खाते चालू हालत में हैं, जिनमें कुल मिलाकर 32 हजार करोड़ रूपये जमा हैं।’’ कालेधन के बारे में राष्ट्रपति ने कहा कि सरकार ने विदेशी आय और संपत्तियों की जानकारी नहीं देने वालों से निपटने के लिये एक कानून बनाया है। जिसमें समस्या से निपटने के लिये कड़े प्रावधान किये गये हैं।