नई दिल्ली। अवमानना मामले में कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी की मुश्किलें बढ़ गई हैं। सुप्रीम कोर्ट में इस मामले में मंगलवार को हुई सुनवाई के दौरान मुख्य न्यायाधीश रंजन गोगोई ने राहुल गांधी के जवाब पर नाराजगी जाहिर की। न्यायमूर्ति गोगोई ने राहुल गांधी की ओर से पेश वकील अभिषेक मनु सिंघवी से कहा, “अब आप हमें कुछ कहने के लिए मजबूर कर रहे हैं। पिछ्ली सुनवाई पर हमने कुछ नहीं बोला पर यह आपका दूसरा हलफनामा है। आप सुप्रीम कोर्ट का हवाला देकर गलतबयानी भी कर रहे हैं और उसे जवाब में सही ठहराने की कोशिश भी कर रहे हैं।”
राहुल गांधी के वकील अभिषेक मनु सिंघवी ने राहुल की तरफ से उनके बयान, “सुप्रीम कोर्ट ने भी माना है कि चौकीदार चोर है” के लिए कोर्ट से माफी मांगी। सुप्रीम कोर्ट ने उन्हें फटकार भी लगाई। सुप्रीम कोर्ट ने राहुल गांधी के वकील से कहा कि ब्रैकिट में खेद जताने का क्या मतलब है। “राहुल गांधी की ओर से दाखिल हलफनामे में विरोधाभास है, एक जगह वह कहते हैं कि उन्होंने बयान दिया है, दूसरी जगह वह ऐसा करने से मना करते हैं। इसका क्या मतलब है?”
याचिकाकर्ता भाजपा सांसद मिनाक्षी लेखी के वकील मुकुल रोहतगी ने कहा कि राहुल गांधी ने राजनीतिक फायदे के लिए सुप्रीम कोर्ट को मोहरा बनाया। सुप्रीम कोर्ट का नाम लेकर जानबूझकर “चौकीदार चोर है”, वाला बयान दिया गया। राहुल ने बेहद गैरजिम्मेदारी का परिचय दिया और उन्हें ऐसा करने पर कोई पछतावा भी नहीं है। रोहतगी ने कहा, “उन्होंने (राहुल गांधी ने) जानबूझकर सुप्रीम कोर्ट के हवाले से यह बयान (चौकीदार चोर है) दिया है। इसके बाद उन्होंने केवल खेद व्यक्त किया है। अवमानना मामलों में कानून एकदम स्पष्ट है कि माफीनामे की लाइन बिना शर्त के माफी से शुरू होनी चाहिए।”
कोर्ट ने कांग्रेस अध्यक्ष को नया हलफनामा दाखिल करने की इजाजत दे दी है। हालांकि उसका कहना है कि वह इस नए हलफनामे को स्वीकार करेगा या नहीं इस पर अगले सोमवार को सुनवाई होगी।