बरेली। विकास भवन सभागार में अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस के उपलक्ष्य में महिला एवं बाल विकास पुष्टाहार विभाग द्वारा महिला सम्मान कार्यक्रम का आयोजन किया गया। मुख्य अतिथि जिलाधिकारी सुरेन्द्र सिंह की धर्मपत्नी गरिमा सिंह रहीं।
मुख्य अतिथि गरिमा सिंह ने कहा कि महिला सृष्टि रचित एक उत्कृष्ट रचना है जिसमें असीम क्षमताएं हैं। जो महिलाएं नौकरीपेशा नहीं है उन्हें अपने आप को उपेक्षित महसूस नहीं करना चाहिए क्योंकि घर परिवार को सम्भालना कोई साधारण कार्य नहीं है।
कार्यक्रम में महिला अधिवक्ता हरजिन्दर ने महिलाओं की सुरक्षा के लिए बने नियमों व कानूनों की जानकारी विस्तार से दी। जिला प्रोबेशन अधिकारी ने अपने विभाग द्वारा महिलाआें के हित में जारी योजनाओं के बारे में बताया। उन्होने जानकारी दी कि अब किसी भी प्रकार की पीड़ित व शोषित महिलाओ को कई विभागों में जाकर मदद मॉगने की आवश्यकता नहीं है उन्हें इलाज, सुरक्षा, विधिक सलाह व संरक्षण एक ही स्थान से प्राप्त होगा और उसका नाम है आशा ज्योति केन्द्र। पीड़िता को मात्र 181 टोल फ्री नम्बर डॉयल करना होगा।
कार्यकम का संचालन जिला कार्यक्रम अधिकारी बुद्धि मिश्रा ने करते हुए कहा कि नौकरीपेशा महिलाएं एक साथ दो जिम्मेदारियों को वहन करती हैं वे अपने घर परिवार को सम्भालते हुए अपने कार्यक्षेत्र में भी बेहतर प्रदर्शन करती हैं। एक साथ विभिन्न जिम्मेदारियों को उठाने की क्षमता महिलाओं में होती है।
इसके अतिरिक्त मुख्य विकास अधिकारी की धर्मपत्नी सौम्या तथा कार्यक्रम की संयोजिका जिला कार्यक्रम अधिकारी बुद्धि मिश्रा, जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी चन्दना राम इकबाल यादव, जिला प्रोबेशन अधिकारी नीता अहिरवार, जिला उद्यान अधिकारी पूजा, जिला पिछड़ा वर्ग कल्याण अधिकारी रेखा गुप्ता, अधिवक्ता हरजिन्दर, दीपा चन्द्रा सहित अन्य गणमान्य महिलाएं उपस्थित रहीं और महिला दिवस के अवसर पर अपने विचार व्यक्त किये। कार्यक्रम में बाल विकास पुष्टाहार विभाग की मुख्य सेविकाएं, आंगनबाड़ी कार्यकत्रियां भी उपस्थित रहीं।