नई दिल्ली। केंद्र में नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में नई सरकार के गठन के बाद जुलाई के पहले हफ्ते में बजट पेश किया जा सकता है। इससे पहले मोदी सरकार ने लोकसभा चुनाव से पहले अंतरिम बजट पेश किया था। अंतरिम बजट में कुछ ऐसे फैसले रखे गए थे जिन्हें जुलाई में पेश किए जाने वाले बजट में पूर्ण रूप दिया जा सकता है। सूत्रों के अनुसार बजट के लिए उद्योग संगठनों के साथ बैठक का सिलसिला शुरू हो चुका है।

पूर्ण बजट में सरकार का फोकस आर्थिक विकास की गति बढ़ने के साथ ही रोजगार के अवसर बढ़ने पर होगा। इसके लिए सरकार नौकरी बढ़ाने वाले रियल एस्टेट, इंफ्रा और कंस्ट्रक्शन सेक्टर पर ध्यान देगी। किसानों की आय बढ़ाने की योजनाओं को अमल में लाया जा सकता है। इसके अलावा प्रत्यक्ष विदेशी न्वेश (FDI) के नियमों को और आसान बनाने की कोशिश की जाएगी।

मोदी सरकार ने परंपरा के अनुसार आम चुनाव से पहले 1 फरवरी 2019 को अंतरिम बजट पेश किया था। उस समय ही सरकार ने संकेत दिया था कि अंतरिम बजट पूर्ण बजट की ही छवि है। बजट डॉक्यूमेंट पर भी अंतरिम बजट नहीं लिखा गया था।

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