नई दिल्ली।बीते 40 दिनों से जंतर मंतर पर प्रदर्शन कर रहे तमिलनाडु के किसानों ने शनिवार को अपना पेशाब पीकर विरोध-प्रदर्शन किया।किसान सरकार का ध्यान अपनी तरफ खींचने के लिए लगातार अलग-अलग ढंग से अपना विरोध प्रदर्शन कर रहे हैं।किसान केंद्र से अपने लोन की माफी की मांग कर रहे हैं। किसानों का कहना है कि उनकी फसल कई बार आए सूखे और चक्रवात में बर्बाद हो चुकी है। किसान चाहते हैं कि केंद्र सरकार उनकी समस्या का समाधान करे। वे आत्महत्या कर चुके किसानों की खोपड़ियां भी साथ लेकर आए हैं।प्रदर्शन की अपनी हद पार करते हुए किसानों ने शनिवार को अपना पेशाब पिया और कहा कि केंद्र सरकार ने यदि उनकी बात नहीं सुनी तो वे रविवार को अपना मल खाने से भी परहेज नहीं करेंगे।

किसान लगातार अलग-अलग ढंग से अपना विरोध प्रदर्शन कर रहे हैं। अपनी मांगें पूरी न होते देख इन किसानों ने पिछले दिनों नग्न प्रदर्शन करने से लेकर चूहे तक खाए।कुछ दिनों पहले विरोध प्रदर्शन स्थल पर किसान घास लेकर आए और मीडियाकर्मियों के सामने उसे खाया।

एक किसान ने कहा, ‘हम अपनी पीड़ा की तरफ प्रधानमंत्री का ध्यान खींचने के लिए तमाम कोशिशें कर रहे हैं लेकिन उनका कोई फायदा नहीं हुआ। इसलिए हम घास खा रहे हैं। ’ किसान अपनी समस्याओं की तरफ ध्यान खींचने के लिए खास तरीकों का इस्तेमाल कर रहे हैं।

क्षेत्रीय एवं राष्ट्रीय दलों के कई नेताओं, फिल्म कलाकारों एवं किसान संघों ने विरोध प्रदर्शन कर रहे किसानों का समर्थन किया है। किसान ने कहा, ‘केंद्रीय मंत्रियों से बात करने के बावजूद हमारी स्थिति में कोई बदलाव नहीं आया।’ किसानों की मांगों में केंद्र से 40,000 करोड़ रुपये का सूखा राहत पैकेज, कृषि रिण माफी और कावेरी प्रबंधन बोर्ड की स्थापना शामिल हैं।

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