नई दिल्ली। बैंक खातों को साफ करते रहे साइबर लुटेरे अब बीमा पॉलिसी धारकों (Insurance policy holders) को ठगने में जुट गए हैं। देश की सबसे बड़ी जीवन बीमा कंपनी भारतीय जीवन बीमा निगम (LIC) के पॉलिसीधारकों को ठगने के प्रयास सबसे अधिक हो रहे हैं। ऐसे में पॉलिसीधारकों को सतर्क हो जाना चाहिए। एलआईसी ने अपने पॉलिसीधारकों को आगाह किया है कि वे SMS के माध्यम से अपना आधार नंबर शेयर ना करें। उसने ऐसी किसी भी सुविधा को शुरू नहीं किया है जिससे आधार नंबर को किसी पॉलिसी से जोड़ा जा सके।
भारतीय जीवन बीमा निगम ने एक सार्वजनिक नोटिस में कहा है, “हमारा ध्यान सोशल मीडिया में प्रसारित कुछ संदेशों पर है, जो हमारे प्रतीक चिन्ह और लोगो के साथ पॉलिसीधारकों को निर्दिष्ट संख्या पर एसएमएस भेजकर अपने आधार नंबर को जोड़ने के लिए कहते हैं।” एलआईसी ने आगे कहा कि ऐसा कोई संदेश एलआईसी द्वारा नहीं भेजा जा रहा है। इसके अलावा आधार नंबर को पॉलिसियों से जोड़ने की कोई सुविधा एलआईसी में एसएमएस के माध्यम से उपलब्ध नहीं है।
इस नोटिस में यह भी कहा गया है कि जब और जैसे ही एलआईसी एसएमएस के जरिए पॉलिसी के साथ आधार नंबर को जोड़ने में सक्षम होगा, उसकी वेबसाइट में इस विकल्प के अपडेट किया जाएगा।
गौरतलब है कि बीमा नियामक और विकास प्राधिकरण (IRDA) ने कहा है कि बीमा पॉलिसियों के साथ आधार नंबर को लिंक करना अनिवार्य है। IRDA ने बीमा कंपनियों को वैधानिक मानदंडों का पालन करने के लिए कहा है।