नई दिल्ली। (The Union Home Ministry said that traffic should not be banned) केंद्रीय गृह सचिव अजय भल्ला ने सभी राज्यों के मुख्य सचिव को पत्र लिखकर कहा है कि राज्य के अंदर और राज्य के बाहर के आवागमन पर रोक नहीं लगनी चाहिए। ऐसा करने पर यह गृह मंत्रालय की गाइडलाइन का उल्लंघन होगा। इसके साथ ही अजय भल्ला ने कहा कि स्थानीय एवं अंतरराज्यीय स्तर पर आवागमन में रोक लगने से सप्लाइ चेन पर असर पड़ रहा है और आर्थिक स्तर पर भी बुरा प्रभाव पड़ रहा है।
गौरतलब है कि कोरोना वायरस संक्रमण और लॉकडाउन के नाम पर अधिकतर राज्यों में ट्रकों के आवागमन पर रोक लगाई जा रही है। उत्तराखंड समेत कुछ राज्यों के अधिकारियों को लेकर शिकायतें मिलती रही हैं कि वे मनमाने नियम-कायदे लागू कर रहे हैं जिससे अनलॉक प्रक्रिया का उद्देश्य ही खत्म हो गया है और लोगों में भय का भाव घर कर रहा है। इसी के चलते केंद्रीय गृह मंत्रालय ने राज्यों को पत्र लिखकर सरकार के दिशा निर्देश मानने को कहा गया है।
भल्ला ने पत्र में कहा कि अनलॉक के दिशा-निर्देशों में साफ तौर पर कहा गया है कि व्यक्तियों या सामान के अंतरराज्यीय और राज्यों के भीतर आवागमन पर कोई प्रतिबंध नहीं होना चाहिए। दिशा-निर्देशों में यह भी कहा गया है कि पड़ोसी देशों के साथ समझौते के तहत सीमा पार व्यापार के लिए व्यक्तियों या सामान के आवागमन के वास्ते अलग से अनुमति, मंजूरी या ई-परमिट की जरूरत नहीं होगी। गृह सचिव ने कहा कि ऐसे प्रतिबंध आपदा प्रबंधन कानून 2005 के प्रावधानों के तहत गृह मंत्रालय के दिशा-निर्देशों के उल्लंघन के समान हैं। पत्र में आग्रह किया गया है कि पाबंदी नहीं लगाई जानी चाहिए और ‘अनलॉक संबंधी दिशा-निर्देशों का पालन सुनिश्चित किया जाना चाहिए।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कोरोना वायरस संक्रमण के प्रसार को रोकने के लिए 25 मार्च से लॉकडाउन लगाने की घोषणा की थी। बाद में इसे 31 मई तक बढ़ाया गया। इसके बाद देशभर में औद्योगिक गतिविधियों और कार्यालयों को खोलने के साथ एक जून से ‘अनलॉक की प्रक्रिया शुरू हुई थी।