लखनऊ। (UP Panchyat Election 2021) उत्तर प्रदेश में त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव की कवायद गति पकड़ चुकी है। पंचायती राज विभाग गांवों की सरकार चुनने की तैयारी में युद्धस्तर पर जुटा है। उसने वार्डों के परिसीमन की सूची राज्य निर्वाचन आयोग को सौंप दी है। राज्य की 75 जिला पंचायतों, 826 क्षेत्र पंचायतों के साथ ही 58194 ग्राम पंचायतों में नए परिसीमन के आधार पर चुनाव होंगे। नए परिसीमन के मुताबिक जिला पंचायत के 3051 वार्ड होंगे। क्षेत्र पंचायत के 75855 जबकि ग्राम पंचायतों के 7,31,813 वार्ड होंगे।
राज्य निर्वाचन आयोग अब संबंधित क्षेत्र की मतदाता सूची तैयार करने की प्रक्रिया शुरू करेगा। पंचायती राज निदेशक किंजल सिंह ने बताया कि पांच वर्षों में नगरीय निकायों के विस्तार के बाद से पंचायतों का दायरा सिमटा है। 880 ग्राम पंचायतें शहरी क्षेत्रों में विलीन हो गई हैं। परिसीमन के बाद ग्राम पंचायत, क्षेत्र पंचायत और जिला पंचायत वार्डों की सूची जारी कर दी गई है।
प्रदेश में इस बार 59,074 की बजाए 58,194 ग्राम पंचायतों में प्रधान चुने जाएंगे। इसके साथ ही साथ साथ ग्राम पंचायतों में वार्डों की संख्या भी 12,745 कम हो गई है। इसी क्रम में 826 ब्लाक प्रमुखों का चुनाव करने के लिए प्रदेश में 75,805 क्षेत्र पंचायत सदस्य चुने जाएंगे जो वर्ष 2015 की तुलना में 1,996 कम होंगे।
परिसीमन के बाद इस बार 2015 के मुकाबले जिला पंचायतों के वॉर्डों की संख्या घटाकर 3051 कर दी गई है। पहले यह 3120 थी। इसी तरह इस बार 59,074 ग्राम पंचायतों की जगह 58,194 ग्राम पंचायतों में प्रधान चुने जाएंगे। परिसीमन के बाद वर्ष 2015 की तुलना में ग्राम पंचायत वॉर्डों की संख्या 7,44,558 से घटाकर 7,31,813 कर दी गई है। यानी ग्राम पंचायतों में वॉर्डों की संख्या 12,745 कम हो गई है। क्षेत्र पंचायत सदस्यों की संख्या भी कम होकर 75,805 रह जाएगी। पिछले चुनाव में 77,801 सदस्य चुने गए थे।
प्रदेश के 36 जिलों में जिला पंचायत सदस्यों की संख्या में किसी प्रकार का बदलाव नहीं किया गया है। तीन जिले ऐसे भी हैं जहां इस बार 2015 की तुलना में अधिक जिला पंचायत सदस्य चुने जाएंगे। गोंडा में 51 की जगह 65, मुरादाबाद में 34 की जगह 39 और संभल में 27 की जगह 35 जिला पंचायत सदस्य निर्वाचित होंगे।