भोपाल। कर्नाटक में कांग्रेस के समर्थन वाली कुमारस्वामी सरकार के गिरने का जश्न मना रही भाजपा को मध्य प्रदेश में उस समय करारा झटका लगा जब उसके दो विधायकों ने आपराधिक कानून (संशोधन) बिल पर मतदान के दौरान कांग्रेस की कमलनाथ के नेतृत्व वाली सरकार के पक्ष में मतदान किया।
गौरतलब है कि मध्य प्रदेश में कांग्रेस की भाजपा से कुछ ही सीटें ज्यादा हैं। ऐसे में पिछले कुछ दिनों से ऐसा माहौल बनाया जा रहा था कि कुमारस्वामी के बाद अब कमलनाथ सरकार को निपटाने की तैयारी है। लेकिन, बुधवार को विधानसभा में जो हुआ, उसके चलते तमाम भाजपा नेता अपना चेहरा छिपाये फिर रहे हैं। दरअसल, आपराधिक कानून (संशोधन) बिल पर मतदान के दौरान दो भाजपा विधायकों- नारायण त्रिपाठी और शरद कौल ने कमलनाथ सरकार के पक्ष में वोट दिया। इस बीच खबर है कि कांग्रेस ने इन दोनों विधायकों को किसी अज्ञात स्थान पर भेज दिया है और दोनों रात में मुख्यमंत्री कमलनाथ के साथ भोजन करेंगे।
बिल पर मतदान के बाद कमलनाथ ने भाजपा पर चुटकी लेते हुए कहा, “भाजपा रोज कहती है कि हमारी सरकार कभी भी गिर सकती है। आज सदन में आपराधिक कानून (संशोधन) बिल पर वोटिंग के दौरान दो भाजपा नेताओं ने हमारे पक्ष में वोट दे दिया।” कांग्रेस विधायक जीतू पटवारी ने भी भाजपा पर हमला किया। उन्होंने कहा, “भाजपा अगर मध्य प्रदेश सरकार को कर्नाटक की कुमारस्वामी सरकार न समझे। भाजपा ने हमारे लिए समस्याएं पैदा करने के लिए सब कुछ किया है लेकिन यह कमलनाथ की सरकार है, कुमारस्वामी की नहीं, उन्हें इस सरकार को हिलाने के लिए सात जन्म लेना होगा।“