लखनऊ। समाजवादी पार्टी यानि सपा की ओर से उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री पद के लिए एकमात्र चेहरा माने जाने वाले अखिलेश यादव ने सोमवार को यह घोषणा कर चौंका दिया कि वह अगले साल विधानसभा चुनाव नहीं लड़ेंगे। हालांकि इसके बाद सपा की ओर से स्पष्ट किया गया कि पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश विधानसभा चुनाव लड़ेंगे या नहीं यह पार्टी तय करेगी। गौरतलब है कि अखिलेश यादव आजमगढ़ लोकसभा सीट से सांसद हैं।
अखिलेश यादव ने कहा है कि वह छोटी पार्टियों से गठबंधन कर रहे हैं। उनकी पार्टी और राष्ट्रीय लोक दल (रालोद) के बीच गठबंधन के बाद सीटों पर अंतिम चरण में बातचीत चल रही है। चुनाव में चाचा शिवपाल यादव की प्रगतिशील समाजवादी पार्टी लोहिया को साथ लेने की संभावना पर उन्होंने कहा, “मुझे इसमें कोई समस्या नहीं है। उन्हें और उनके लोगों को उचित सम्मान दिया जाएगा।”
अखिलेश यादव के इस बयान के बाद सपा पार्टी के प्रवक्ता राजेन्द्र चौधरी ने इस बात का खंडन करते हुए कहा कि अखिलेश यादव इस बार चुनव लड़ेंगे या नहीं, यह पार्टी अभी तय करेगी। उन्होंने पिछला विधानसभा चुनाव भी नहीं लड़ा था।
माना जा रहा है कि अखिलेश यादव विधानसभा चुनाव की तैयारियों पर अपना पूरा ध्यान रखना चाहते हैं। संभवतः इसी कारण उन्होंने विधानसभा चुनाव नहीं लड़ने का फैसला किया है।
अखिलेश यादव इन दिनों समाजवादी विजय रथ यात्रा पर हैं। उनके निशाने पर मुख्य रूप से भाजपा और कांग्रेस हैं। रविवार को हरदोई में जनसभा के दौरान उन्होंने भाजपा और कांग्रेस को एक जैसा बताया। कहा कि ईडी और सीबीआइ जांच कराने की आदत कांग्रेस की रही और उसी रास्ते पर भाजपा भी चल रही है।