नेताजी सुभाष चंद्र बोस की जयंतीनेताजी सुभाष चंद्र बोस की जयंती

बरेली: अखिल भारतीय कायस्थ महासभा द्वारा नेताजी सुभाष चंद्र बोस की जयंती सिटी इंप्रूवमेंट पार्क (नेताजी सुभाष चंद्र बोस पार्क) में मनायी गयी। कार्यक्रम का शुभारम्भ नेताजी की प्रतिमा पर माल्यार्पण के साथ हुआ। मुख्य अतिथि बरेली शहर विधायक डॉ अरुण कुमार तथा विशेष अतिथि डॉ विनोद पगरानी एवं सुप्रसिद्ध इतिहासकार रणजीत पांचाले  और महासभा के जिलाध्यक्ष वेद प्रकाश सक्सेना कातिब ने सर्वप्रथम नेताजी की मूर्ति पर माल्यार्पण किया। इस अवसर पर इतिहासकार रणजीत पांचाले का सम्मान भी किया गया।

नेताजी के जीवन पर प्रकाश डालते हुए रंजीत पांचले ने कहा कि नेताजी सुभाष चंद्र बोस को राष्ट्र् पिता महात्मा गाँधी के समान दर्जा मिलना चाहिए। भारत की आजादी में उनका योगदान कहीँ भी गाँधी जी से कम नहीं है।

नेताजी’ के नाम से प्रसिद्ध सुभाष चन्द्र ने सशक्त क्रान्ति द्वारा भारत को स्वतंत्र कराने के उद्देश्य से 21 अक्टूबर, 1943 को ‘आज़ाद हिन्द सरकार’ की स्थापना की तथा ‘आज़ाद हिन्द फ़ौज’ का गठन किया। इस संगठन के प्रतीक चिह्न पर एक झंडे पर दहाड़ते हुए बाघ का चित्र बना होता था। नेताजी अपनी आजाद हिंद फौज के साथ 4 जुलाई 1944 को बर्मा पहुँचे। यहीं पर उन्होंने अपना प्रसिद्ध नारा, “तुम मुझे खून दो, मैं तुम्हें आजादी दूंगा” दिया। 18 अगस्त 1945 को टोक्यो (जापान) जाते समय ताइवान के पास नेताजी का एक हवाई दुर्घटना में निधन हुआ बताया जाता है, लेकिन उनका शव नहीं मिल पाया। नेताजी की मौत के कारणों पर आज भी विवाद बना हुआ है।

कार्यक्रम में मुख्य रूप से अखिल भारतीय कायस्थ महासभा के प्रदेश उपाध्यक्ष संजीव सक्सेना, महासचिव आलोक प्रधान, कोषाध्यक्ष श्यामदीप सक्सेना,गौरव सक्सेना पार्षद, विशाल श्रीवास्तव, आलोक सक्सेना, योगेश सक्सेना, दीपक सक्सेना पार्षद, कपिलकांत पार्षद, महानगर युवा अध्यक्ष भाजपा अमन सक्सेना, दिव्यांश सक्सेना,अनिलेश सक्सेना, प्रशांत सक्सेना, राजीव सक्सेना, अनूप सक्सेना आदि उपस्थित थे।

error: Content is protected !!