@sanatanyatra:प्रयागराज महाकुंभ वास्तव में सामाजिक समरसता का एक अद्वितीय उदाहरण है। यह आयोजन न केवल धार्मिक और सांस्कृतिक महत्व का प्रतीक है, बल्कि यह विभिन्न समुदायों और वर्गों के लोगों को एक साथ लाने का एक शक्तिशाली माध्यम भी है।
महाकुंभ 2025 की शुरुआत आज से हो गई है, विदेश से भी लोग प्रयागराज पहुंच रहे हैं। इस बार तुर्की की निवासी पिनार ने भी महाकुंभ में हिस्सा लिया और भारतीय संस्कृति तथा परंपराओं से खुद को परिचित किया।आस्था के रंग में रंगी मुस्लिम महिला पिनार ने महाकुंभ में स्नान किया। वह मुस्लिम बहुल देश तुर्की की निवासी हैं।भारत की संस्कृति और परंपराओं को गहरे से अपनाया।
पिनार ने संगम में स्नान किया, तिलक लगाया। पिनार ने बताया कि उन्होंने महाकुंभ के बारे में अपने दोस्तों से सुना था और भारत आकर इसे देखने की इच्छा काफी समय से थी, उन्होंने इसे दिव्य और भव्य बताया।पिनार ने महाकुंभ की भव्यता ने दिल को छुआ,धार्मिक एकता और आस्था की मिसाल बनी पिनार की यात्रा।
विभिन्न संस्कृतियों और धर्मों के लोग एक दूसरे की परंपराओं और रीति-रिवाजों का सम्मान करते हैं और उनसे सीखतेे हैं। पिनार का महाकुंभ में हिस्सा लेना और भारतीय संस्कृति का अनुभव करना एक अच्छा संदेश देता है कि कैसे हम विभिन्नता में एकता की भावना को बढ़ावा दे सकते हैं।