बरेली। कुछ समय पहले महानगर के सात बैंक्वेंट हॉल पर की गई सर्वे कार्रवाई के बाद आयकर अधिकारियों ने शुक्रवार को फिर चार फर्मों पर कार्रवाई की। अब तक हुई दस्तावेंजों की जांच में करोंड़ों की टैक्स चोरी और आय से कम कमाई दिखाए जाने की पुष्टि हुई है। आयकर अधिकारियों के अनुसार अभिलेखों की जांच के साथ ही कागजों में दर्शायी गई और वास्तविक आय का आकलन किया जा रहा है। आयकर विभाग की इस कार्रवाई से कारोबारियों में अफरा-तफरी का माहौल बना रहा।
आयकर विभाग की टीमों ने स्टेडियम रोड पर मेडिट जी कोचिंग इंस्टीट्यूट, बंसल इंटीरियर्स और सुभाषनगर के कुंवर रिसोर्ट बरातघर समेत चार अलग-अलग कारोबारी ठिकानों पर छापेमारी कर करोड़ों रुपये की हेराफेरी पकड़ी। देर रात तक इन ठिकानों पर जांच-पड़ताल चलती रही। टीमों ने इस दौरान तमाम रिकॉर्ड भी कब्जे में लिये।
गोपनीय जानकारी के आधार पर प्रधान आयकर आयुक्त शिशिर अग्रवाल के निर्देश पर चार ठिकानों पर एक साथ यह कार्रवाई की गई। इस कार्रवाई का नेतृत्व संयुक्त आयकर आयुक्त एसबी सिंह कर रहे थे। स्टेडियम रोड पर मेडिट जी के दो कोचिंग इंस्टीट्यूट पर आयकर छापे के दौरान बड़े पैमाने पर हेराफेरी मिली। आयकर विभाग के सूत्रों के मुताबिक इंस्टीट्यूट में जितने विद्यार्थियों का रजिस्ट्रेशन था, उनकी संख्या रिकॉर्ड में काफी कम दिखाई गई थी। विद्यार्थियों से ली जा रही फीस और रिकॉर्ड में दिखाई गई फीस में भी बड़ा अंतर पाया गया।
सुभाषनगर में बदायूं
रोड पर पर कुंवर रिसोर्ट के निर्माण में भी आयकर टीम को काफी खर्च किए जाने के
प्रमाण मिले। आयकर टीम ने रिसोर्ट के मालिक से निर्माण संबंधी रिकॉर्ड तलब किए हैं, साथ ही बुकिंग के लिए ली जाने वाली धनराशि
का भी ब्योरा मांगा है। आयकर टीम को ज्यादातर रिकार्ड मौके पर नहीं मिले जिस पर वह
आधे-अधूरे रिकॉर्ड लेकर ही शाम को लौट गई। रिसोर्ट के मालिक को अब मंगलवार सुबह
तलब किया गया है।
बंसल इंटीरियर्स
पर भी टैक्स की हेराफेरी की पुष्टि हुई। टीम ने यहां से कीमती सामान की खरीद-फरोख्त
का ब्योरा अपने कब्जे में लिया है। आयकर अधिकिरयों का कहना है कि इस ब्योरे के
आधार पर खरीदारों की भी जांच की जाएगी। इसी रोड पर एक और फर्म पर छापे में ऐसे ही
रिकार्ड मिले हैं। इस छानबीन में प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड के एक अधिकारी के साथ कुछ
ऐसे अधिकारियों के नाम भी प्रकाश में आए हैं जिन्होंने बरेली, लखनऊ, नोएडा आदि शहरों में
अपने आलीशान आवास बनवाए हैं।
आयकर विभाग के सूत्रों के मुताबिक प्रारंभिक छानबीन में कोचिंग इंस्टीट्यूट में तीन करोड़ और बंसल इंटीरियर्स की फर्म में दो करोड़ रुपये के टैक्स की हेराफेरी की पुष्टि हुई है जबकि बारातघर की अभी जांच चल रही है। उम्मीद जताई जा रही है कि इन चारों ठिकानों पर दस करोड़ रुपये से ज्यादा का टैक्स रिकवर हो सकता है। आयकर विभाग इसे एक सफलता मान रहा है। अभी जांच जारी है और अभिलेखों का परीक्षण भी पूरा नहीं हो पाया है इसलिए अधिकृत तौर पर आयकर विभाग ने स्थिति साफ नहीं की है।आयकर विभाग के छापामार दलों में बीडी प्रजापति, रविंद सिंह, राजेश कुमार, आरके सक्सेना, प्रमोद रावत, डीएस नेगी, अभिषेक कुमार, कुलदीप सिंह आदि शामिल रहे।