बरेली। नौनिहाल बच्चों को डायरिया से बचाने के लिए रोटा वायरस से बचाव जरूरी है। इसके लिए राष्ट्रीय टीकाकरण कार्यक्रम के अंतर्गत नन्हें शिशुओं को रोटा वायरस वैक्सीन पिलायी जा रही है। बुधवार को जिला महिला अस्पताल समेत सभी सीएचसी पर इसका आरंभ हुआ।
जिला महिला अस्पताल में शहर विधायक डा. अरुण कुमार ने अभियान का उद्घाटन किया। सीएमएस डा. साधना सक्सेना ने रोटा वायरस के बारे में बताया कि बच्चों में दस्त रोटावायरस के संक्रमण के चलते होते हैं। बच्चों की सबसे अधिक मौत इसके चलते ही होती है।
अब तक निजी अस्पतालों में यह टीका लगाया जाता था लेकिन अब सरकार की तरफ से भी बच्चों को रोटावायरस टीका लगेगा। उद्घाटन के बाद नगर विधायक ने अस्पताल में बना फीवर वार्ड भी देखा।
सीएमएस ने बताया कि फीवर वार्ड के चलते अस्पताल में भर्ती गर्भवती और प्रसूताआें को संक्रमण का खतरा है। यह वार्ड खुले में बनाया गया है और पास ही बच्चों का टीकाकरण होता है। नवाबगंज सीएचसी पर विधायक केसर सिंह गंगवार और आंवला सीएचसी पर नगर पालिकाध्यक्ष संजीव सक्सेना ने टीकाकरण अभियान का शुभारम्भ किया।
आंवला संवाददाता के अनुसार कस्बे के सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र पर बुधवार को रोटा वायरस टीकाकरण अभियान का शुभारम्भ हुआ। नगर पालिकाध्यक्ष संजीव सक्सेना ने फीता काटने के बाद दो बच्चों को वैक्सीन पिलाकर किया।
यहां डॉ. बिकास यादव ने बताया कि ये बैक्सीन बच्चे को तीन वार दी जाती है। पहली खुराक डेढ़ माह पर और दूसरी ढाई माह और तीसरी साढे तीन माह पर पिलाई जाती है। इससे सर्दियों में बच्चों को होने वाले उल्टी दश्त से परेशान बच्चों को राहत मिलेगी और बचाव हो सकेगा।
इस दौरान प्रभारी डॉ0 राजेन्द्र कुमार, अखिलेश सक्सेना, संजीव सक्सेना, यूनिसेफ के वीएमसी इमरान खांन सहित सभासद भी मौजूद रहे।