बरेली लाइव न्यूज नेटवर्क, बरेली : बरेली बार एसोसिएशन के विभिन्न पदों के लिए चुनाव बीते एक माह से चल रही गहमागहमी के बीच बहुत ही शान्ति व सौहार्दपूर्ण माहौल में सम्पन्न हो गया। इसमें कुल 2056 में से 1860 मतदाताओं ने अपने मताधिकार का प्रयोग किया। मंगलवार को मतगणना के पश्चात 10 पदों पर लड़ रहे सभी प्रत्याशियों के परिणाम घोषित हो जायेंगे।
इस बार चुनाव में कई प्रत्याशियों ने बैनर, होर्डिंग और बड़ी-बड़ी पार्टियं करके चुनावी महौल ही बदल दिया। नये चुनावी समीकरण के मुताबिक अध्यक्ष पद पर लड़ रहे पांच प्रत्याशियों में मुकाबले में तीन प्रत्याशी ही रहे जिसमें बार के पूर्व अध्यक्ष रहे अनिल द्विवेदी की दावेदारी मजबूत दिखायी पड़ रही है जबकि मोतीराम मौर्य और अरविंद कुमार का दूसरे व तीसरे नम्बर पर रहने का अनुमान है। हालॉकि अनिल द्विवेदी को हराने के लिए कद्दावर समझे जाने लोग भी अंत तक समीकरण बिगाड़ने में जुटे दिखायी दिये।
सचिव पद के लिए छह प्रत्याशी मैदान में रहे किन्तु मुकाबला त्रिकोणीय ही रहा। इनमें पहले सीधा मुकाबला बीपी ध्यानी और शेर सिंह के बीच ही माना जा रहा था किन्तु शशिकंत तिवारी के पूरे जोरशोर के साथ मैदान में कूद जाने से दोनों ही प्रत्याशी सकते में आ गये। ऐसा माना जाने लगा कि तिवारी दूसरे स्थान पर आ जायेंगे लेकिन मतदान से पहले समीकरण बदलते नजर आये और मतदाताओं का रुझान ध्यानी के पक्ष नजर आने लगा। देर शाम ध्यानी के मजबूत होने की स्थिति और भी स्पष्ट हो गयी।
वरिष्ठ उपाध्यक्ष के पद पर पंच प्रत्याशी मैदान में रहे और पंचों ही प्रत्याशियों ने आखिर तक जमकर मेहनत की। इस पद पर किसी को भी कम नहीं का जा सकता है, परिणाम किसी के भी पक्ष में हों किन्तु मतों का फासला अधिक नहीं होगा। इसी प्रकार उपाध्यक्ष पद पर भी पांचों प्रत्याशी अन्त तक जमकर लड़ते दिखायी दियेकिन्तु मुकाबला स्वतंत्र कुमार पाठक, अमित कुमार सिंह तथा अनुपम अग्रवाल के बीच त्रिकोणीय समझा जा रहा है।
कनिष्ठ उपाध्यक्ष पद पर सीधा मुकाबला ललित कुमार सिंह और अनुज गंगवार के बीच रहा। अपने सरल स्वभाव और हंसमुख चेहरे के साथ सहज उपलब्ध ललित पहले से ही लोगों के करीबी हैं, इसका पूरा फायदा उन्हें मिला। मतदाताओं का रुझान देखते हुए उनकी जीत तो पक्की समझी जा रही है लेकिन देखना यह है जीत का अन्तराल कितना ज्यादा रहेगा।
सर्वाधिक रोचक मुकाबला कोषाध्यक्ष पद के लिए दिखायी दिया। तीन प्रत्याशियों में जयपाल राजनीतिक व प्रचार प्रसार के नजरिए से सबसे मजबूत प्रत्याशी रहे किन्तु अपने सद्व्यवहार और तेजतर्रार अधिवक्ता के रूप में पहचाने जाने वाले दीपक पाण्डेय ने चुनाव के समीकरण ही बदल दिये जिससे चुनाव एकतरफा उनके पक्ष में नजर आने लगा। मतदान समाप्त होने के साथ ही उनके समर्थक तमाम युवा अधिवक्ता जीत का माहौल बनाकर जिन्दाबाद के नारे लगाते नजर आये। कल मिलाकर कोषाध्यक्ष पद पर दीपक पाण्डेय व कनिष्ठ उपाध्यक्ष पद पर ललित कुमार सिंह की जीत का विशेष रुझान देखा गया।।
संयुक्त सचिव पुस्तकालय के पद पर चार, संयुक्त सचिव प्रशासन के पद पर छह तथा संयुक्त सचिव प्रकाशन के पद पर तीन प्रत्याशी मैदान में रहे और अन्त तक सभी ने मतदाताओं को अपने पक्ष में मतदान के लिए कोई कसर नहीं छोड़ी।
कनिष्ठ कार्यकारिणी के लिए चौदह प्रत्याशियों ने तथा वरिष्ठ कार्यकारिणी के लिए ग्यारह प्रत्याशियों ने जोर आजमाइश की। इन दोनों ही पदों के लिए छह-छह प्रत्याशी चुने जाने हैं। चुनाव में खास बात यह रही कि अधिवक्ताओं के अलावा जातिगत आधार पर बाहरी लोग भी काफी संख्या में अपने प्रत्याशियों के पक्ष में मतदान की अपील करते नजर आये। इनमें कुछ महिलाएं भी थीं।