बरेली: मंडलायुक्त आर. रमेश कुमार ने कहा कि इस समय जबकि पूरे देश में आज़ादी का अमृत महोत्सव मनाया जा रहा है, गणतंत्र दिवस का महत्व और उसकी प्रासंगिकता और अधिक बढ़ जाती है। उन्होंने कहा कि हमारे देश के संविधान ने हमें अधिकर प्रदान किए हैं, साथ ही नागरिक कर्तव्य भी बताए हैं। हमें अपने अंदर कर्तव्य बोध के भाव को सदैव जीवित रखना होगा।
मंडलायुक्त पुलिस लाइन में गणतंत्र दिवस समारोह के मुख्य अतिथि के रूप में उपस्थित जन-समूह को सम्बोधित कर रहे थे। उन्होंने कहा कि हमें कितनी कुर्बानियों के बाद स्वतंत्रता प्राप्त हुई, इसे हमेशा याद रखना चाहिए। देश ने आज़ादी के बाद हर क्षेत्र में तरक़्क़ी की है और विज्ञान एवं तकनीक के क्षेत्र में विशेष योगदान रहा है, इसके बावजूद अभी भी विकास के रास्ते पर आगे चलते जाना है। उन्होंने कहा कि आज के दिन ही संविधान को अंगीकार किया गया था, आज का दिन संकल्प लेने का दिन भी है, हमें अपने देश के और अधिक विकास के लिए संकल्पित होना चाहिए।
इससे पूर्व मंडलायुक्त ने रैतिक परेड की सलामी ली और विभिन्न क्षेत्रों में उत्कृष्ट कार्य करने वाले पुलिस अधिकारियों को पुरस्कार भी प्रदान किए।
इस अवसर पर एडीजी, पुलिस राजकुमार, आईजी पुलिस रमित शर्मा, ज़िलाधिकारी शशिकांत द्विवेदी, वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक रोहित सिंह सजवाण, पुलिस अधीक्षक ट्रैफिक राम मोहन सिंह सहित अन्य पुलिस अधिकारी एवं गणमान्य नागरिक उपस्थित रहे।
कमिश्नरी में ध्वजारोहण
इससे पूर्व मंडलायुक्त आर. रमेश कुमार ने कमिश्नरी में ध्वजारोहण किया और उपस्थित लोगों के साथ राष्ट्रगान में शामिल हुए। इसके बाद संविधान संकल्प को उपस्थित लोगों के साथ दोहराया। इसके बाद सभी लोगों के साथ कमिश्नरी परिसर के शहीद स्मारक पर पुष्पांजलि अर्पित कर स्वतंत्रता संग्राम के शहीदों को भावपूर्ण श्रद्धांजलि अर्पित की। इसके बाद मंडलायुक्त ने उपस्थित लोगों को सम्बोधित करते हुए कहा कि आज का दिन लोकतंत्र की मजबूती का दिन है। आज ही के दिन संविधान को अंगीकृत किया गया था, उसी संविधान के अधीन है भारत का हर व्यक्ति। इसी संविधान के अंतर्गत हमारे अधिकार सुनिश्चित और सुरक्षित किए गए हैं। ये अधिकार ही हैं जिनकी बदौलत हम लगातार तरक़्क़ी कर रहे हैं। डिजिटल तरक़्क़ी में हम आगे पहुँच चुके हैं, लेकिन अभी भी आगे बढ़ने की आवश्यकता है, इस चुनौती को स्वीकार करने के लिए हम अग्रसर हैं। विकास के इस रास्ते में एक व्यक्ति के योगदान का भी बड़ा महत्व है। उन्होंने कहा कि आज संकल्प यह भी लेना चाहिए कि गांव स्तर पर गरीब परिवारों की सहायता करें ताकि समाज में समानता बढ़े।
इस अवसर पर सामाजिक कार्यकर्ता जेएस पालीवाल ने अपने सम्बोधन में कहा कि आज हम जहां पर बैठे हैं, यह बड़ी ऐतिहासिक जगह है। यहीं पर बरगद का वह पेड़ था जिस पर बरेली के स्वतंत्रता सेनानियों को अंग्रेजों ने लटका कर फाँसी दी थी। उन्होंने कहा कि अब हम खुली हवा में सांस लेते हैं लेकिन अंग्रेज़ी राज के कलेक्टर का एक सिपाही भी जब गांव में आता था तो दहशत फैल जाती थी। तब लोगों को पास खाने के पैसे नहीं थे, भुखमरी फैलती थी तब। अब हालात बहुत अच्छे हैं। पालीवाल ने कहा कि दुर्भाग्य से पिछले बीस-तीस वर्षों में हमारे नातिक मूल्यों का ह्रास हुआ है, अनुशासन में कमी आई है। आज इस अवसर पर हम सबको नैतिक मूल्यों का पालन करने का संकल्प लेना चाहिए।
कलेक्ट्रेट में जिलाधिकारी ने किया ध्वजारोहण
कलेक्ट्रेट में जिलाधिकारी शिवाकांत द्विवेदी ने ध्वजारोहण किया उसके बाद उपस्थित अधिकारियों एवं कर्मचारियों तथा अन्य गणमान्य नागरिकों के साथ राष्ट्रगान तथा भारतीय संविधान के संकल्प को भी दोहराया। इस अवसर पर अपने सम्बोधन में जिलाधिकारी ने कहा कि गणतंत्र दिवस एक राष्ट्रीय पर्व है। भारत के वीर सपूतों के त्याग व बलिदान ने अंग्रेजों की गुलामी से भारत को आजाद कराया। इसके बाद भारतीय संविधान की संरचना हुई और 26 जनवरी 1950 को इसे अंगीकृत किया गया। भारत गणराज्य बना। उन्होंने कहा कि संविधान में किसी भी प्रकार का भेदभाव नहीं किया गया, सभी धर्म-जाति के लोगों को एक समान अधिकार दिए गए। यही हमारे संविधान की सबसे बड़ी विशेषता कही है।
ज़िलाधिकारी ने कहा कि प्रदेश इस समय निर्वाचन प्रक्रिया से गुजर रहा है। संविधान प्रदत्त अधिकारों के अंतर्गत सभी मतदाताओं का दायित्व है कि अपने मत का प्रयोग अवश्य करें और देश को विकास के नए मानदंड विकसित करने का अवसर प्रदान करें। उन्होंने कहा कि चुनाव लोकतंत्र का महापर्व है, लोकतंत्र को मज़बूत करने का दायित्व भी समान रूप से सभी नागरिकों का है, इसलिए अपने मताधिकार का प्रयोग अवश्य करें।
इस अवसर पर अपर जिलाधिकारी (प्रशा.) वीके सिंह, अपर जिलाधिकारी (वि/रा) संतोष बहादुर सिंह, अपर जिलाधिकारी सिटी डॉ आरडी पाण्डेय ने भी अपने अपने विचार व्यक्त किए। इस अवसर पर नगर मजिस्ट्रेट, मुख्य कोषाधिकारी सहित कलेक्ट्रेट के अधिकारी, कर्मचारी तथा समाजसेवी आदि उपस्थित रहे।