Bareillylive : राष्ट्रीय मानव सेवा संस्थान ने नेताजी सुभाष चंद्र बोस की 128 वीं जयंती बरेली प्रेमनगर स्थित सी.आई पार्क में सुभाष चंद्र बोस की मूर्ति पर मालार्पण कर मनाई नेताजी के विषय में प्रकाश डालते हुए राष्ट्रीय मानव सेवा संस्थान की राष्ट्रीय अध्यक्ष बिंदु सक्सेना ने बताया की नेताजी सुभाष चंद्र बोस का जन्म 23 जनवरी 1897 को भारत में ओड़िशा राज्य के कटक, जिले में हुआ था, नेताजी सुभाष चंद्र बोस भारत के स्वतंत्रता संग्राम के अग्रणी तथा सबसे बड़े नेता थे द्वितीय विश्व युद्ध के दौरान अंग्रेजों के खिलाफ लड़ने के लिए उन्होंने जापान के सहयोग से आजाद ए हिंद फौज का गठन किया और उनके द्वारा दिया गया “जय हिंद “का नारा भारत का राष्ट्रीय नारा बना तुम मुझे खून दो मैं तुम्हें आजादी दूंगा यह नारा भी नेताजी का ही था जो उसे समय अत्यधिक प्रचलन में आया भारतवासी उन्हें नेताजी के नाम से संबोधित करते थे आज भारत में जब नेताजी का संबोधन आता है तो सर्वप्रथम सुभाष चंद्र बोस को ही संबोधित किया जाता है देश की आजादी में नेताजी ने बढ़ चढ़कर हिस्सा लिया और अपने पूरे जीवन को भारतवासियो को अर्पित कर दिया नेताजी की मृत्यु को लेकर आज भी विवाद है जहां जापान में प्रतिवर्ष 18 अगस्त को उनका शहीदी दिवस धूमधाम से मनाया जाता है वहीं भारत में रहने वाले उनके परिवार के लोगों का आज भी मानना है कि नेताजी सुभाष चंद्र बोस की मौत 1945 में नहीं हुई वे उसके बाद रूस में नजर बंद थे यदि ऐसा नहीं है तो भारत सरकार ने उनकी मृत्यु के संबंधित दस्तावेज अब तक सार्वजनिक क्यों नहीं किया क्योंकि य़ह एक बड़ा राज है।
राष्ट्रीय मानव सेवा संस्थान के राष्ट्रीय महामंत्री नरेंद्र पाल ने बताया कि हमारे देश में नेताओं में सर्वश्रेष्ठ नेता एवं देशभक्त सुभाष चंद्र बोस जी थे और वे कोलकाता के महापौर रहे जिनकी मृत्यु एक रहस्यमय है 16 जनवरी 2014 गुरुवार को कोलकाता उच्च न्यायालय नें नेताजी के लापता होने का रहस्य से जुड़े खुफिया दस्तावेजों को सार्वजनिक करने की मांग वाली जन याचिका पर सुनवाई के लिए विशेष पीठ का गठन के आदेश दिया जिसका कोई भी निर्णय संज्ञान में नहीं है जिससे सिद्ध होता है नेताजी की मृत्यु के बारे में कुछ नहीं कहा जा सकता नेताजी सुभाष चंद्र बोस की जयंती कार्यक्रम में राष्ट्रीय मानव सेवा संस्थान की राष्ट्रीय अध्यक्ष बिंदु सक्सेना, राष्ट्रीय उपाध्यक्ष हरी बाबू खंडेलवाल चीनी वाले, राष्ट्रीय उपाध्यक्ष मुकेश मेहंदीरत्ता, संरक्षक वीरेंद्र प्रसाद खंडेलवाल, रामकिशोर, अतुल सक्सेना, पूजा पाल, चंद्र प्रकाश, भारतेंद्र सिंह, आर्यन सिंह, प्रिंस सक्सेना आदि उपस्थित रहे।