नई दिल्ली। ऑनलाइन बैंकिंग फ्रॉड/साइबर फ्रॉड के प्रति लोगों को जागरूक करने के लिए लगातार अभियान चलाते रहा भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) अब चेक के माध्यम से होने वाली जालसाजी रोकने के लिए पॉजिटिव पे सिस्टम (Positive Pay system) शुरू करने जा रहा है। ये सिस्टम 1 जनवरी 2021 से लागू होगा।
पॉजिटिव पे सिस्टम के तहत 50,000 रुपये से अधिक धनराशि के चेक के लिए महत्वपूर्ण ब्योरे के बारे में दोबारा से पुष्टि करने की जरूरत होगी। इस सिस्टम में चेक जारी करने वाले व्यक्ति या संस्थान को एसएमएस, मोबाइल ऐप, इंटरनेट बैंकिंग या एटीएम जैसे इलेक्ट्रॉनिक मध्यम से चेक के बारे में कुछ न्यूनतम ब्योरा अपने बैंक को देना होगा। इसमें चेक जारी करने की तारीख, लाभार्थी का नाम, प्राप्तकर्ता (पेई) और राशि के बारे में जानकारी देनी होगी। इस ब्योरे का चेक को भुगतान के लिए प्रस्तुत करने से पहले मिलान किया जाएगा। अगर कोई विसंगति पाई जाती है तो उसकी जानकारी भुगतानकर्ता बैंक और प्रस्तुत करने वाले बैंक को दे दी जाएगी।
आरबीआई के मुताबिक, इस सुविधा का लाभ उठाना खाताधारक पर निर्भर करेगा. हालांकि, बैंक 5 लाख रुपये और उससे ऊपर की राशि वाले चेक के लिए यह व्यवस्था अनिवार्य कर सकते हैं।
भारतीय रिजर्व बैंक ने बैंकों को पॉजिटिव पे सिस्टम के बारे में ग्राहकों को एसएमएस के जरिये जागरूक करने को कहा है। बैंक अपनी शाखाओं, एटीएम, वेबसाइट और इंटरनेट बैंकिंग पर भी इसकी पूरी जानकारी देंगे।