बरेली। शहर के व्यापारी दो फाड़ हो गये हैं। तीन दिन पूर्व 15 दिन की बाजार बंद की उड़ी अफवाह के बाद जहां एक व्यापार मण्डल ने बाजार रोस्टर के अनुसार ही खुलने की बात कही थी। वहीं दूसरे संगठन ने आज व्यापारियों में पर्चे बांटकर व्यापारियों से स्वैच्छिक बाजार बंद करने का अपील की।
संयुक्त व्यापार मंडल और इसके समर्थक संगठनों ने रविवार को किला, कुतुबखाना, श्यामगंज आदि बाजारों में ‘पहले परिवार, बाद में व्यापार’ लिखे पर्चें बांटकर व्यापारियों स्वैच्छिक बाजार बंदी की अपील की।
व्यापारी नेता शोभित सक्सेना ने कहा कि कोरोना संक्रमण के सोर्स का पता नहीं चलने के कारण सामुदायिक संक्रमण होने का खतरा बढ़ रहा है। कहा कि संगठन बाजार बंदी के पक्ष में नहीं है, लेकिन यह कोरोना संक्रमण की चेन तोड़ने में सहायता करेगी। इस दौरान उद्योग व्यापार मंडल की महिला अध्यक्ष स्वप्रिल शर्मा, महामंत्री एकता सिंह, नेहा पटेल, राम किशन शुक्ला, दानिश जमाल, सौरभ शर्मा, मनोज अरोरा, हरमीत सिंह, विष्णु शुक्ला आदि मौजूद रहे।
इस मुद्दे पर पश्चिमी उप्र उद्योग व्यापार मंडल के जिलाध्यक्ष सुधीश पाण्डेय का कहना है कि जब तक जान है, तभी तक व्यापार है। बोले-कोरोना संक्रमण को लेकर संयुक्त व्यापार मंडल और इसके समर्थक व्यापारिक संगठनों में 15 दिन बाजार बंदी का फैसला लिया है। व्यापारी स्वेच्छा से दुकानें बंद करने के फैसले से सहमत हैं। दूसरे गुट को इसमें ओछी राजनीति नहीं करनी चाहिए।
इसके विपरीत उप्र उद्योग व्यापार मंडल के अध्यक्ष राजेन्द्र गुप्ता का कहना है कि व्यापारी हित में इस मुद्दे पर राजनीति करना गलत है। कहा कि संयुक्त व्यापार संगठन को व्यापारियों पर दुकान बंद कराने का दबाव नहीं बनाना चाहिए। केन्द्रीय मंत्री संतोष गंगवार ने भी संगठन की मांग पर प्रशासन से बात करने की बात कही है।