श्रीनगर। कश्मीर घाटी का माहौल खराब करने और पाकिस्तान के कुछ आतंकी संगठनों के संभावित हमले को देखते हुए सेना, अर्द्धसैन्य बलों और पुलिस को हाई अलर्ट पर रखा गया है। आधिकारिक सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार जम्मू-कशमीर का विशेष दर्जा खत्म होने और अंतरराष्ट्रीय मंचों पर कुछ ठोस हासिल न होने से तिलमिलाया पाकिस्तान बड़े स्तर पर साजिश रचा रहा है ताकि अशांति फैलाकर विश्व बिरादरी का ध्यान कश्मीर की ओर खींचा जा सके।
जम्मू-कश्मीर के मुख्य सचिव बीआर सुब्रमण्यम ने शुक्रवार को संवाददाता सम्मेलन में बताया कि सीमापार से होनेवाले आतंकवाद को देखते हुए केंद्र सरकार की तरफ से सावधानी भरे कदम उठाए गए हैं। प्रदेश में स्थिति पूरी तरह से सामान्य है और अभी तक किसी मौत की खबर नहीं है और न ही किसी के गंभीर तौर पर घायल होने की खबर नहीं है। आनेवाले दिनों में पाबंदियों में छूट दी जाएगी।
मुख्य सचिव ने कहा कि शुक्रवार की नमाज के बाद भी पूरे केंद्र शासित क्षेत्र में स्थिति सामान्य रही। आनेवाले दिनों में और छूट बढ़ाई जाएगी। सप्ताहांत (वीकेंड) के बाद क्षेत्रवार स्कूल खुलते जाएंगे। सरकारी दफ्तर खुल गए हैं और बड़ी संख्या में कर्मचारी भी शुक्रवार को काम पर पहुंचे। आज से कुछ हिस्सों में फोन सेवा बहाल की गई और आनेवाले दिनों में इसे क्षेत्रवार सभी हिस्सों में फिर से बहाल किया जाएगा।
राज्य प्रशासन के एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि इस समय कश्मीर में तैनात सभी केंद्रीय बल अपने स्तर पर उचित माध्यम से केंद्रीय गृह मंत्रालय को रोजाना सुबह-शाम की स्थिति के बारे में रिपोर्ट कर रहे हैं। पुलिस संगठन भी केंद्रीय गृह मंत्रालय को आंतरिक सुरक्षा व्यवस्था पर रिपोर्ट भेज रहा है। इस रिपोर्ट में वादी में हालात सामान्य बनाए रखने के लिए किए जा रहे उपायों, हिरासत में लिये गए नेताओं व अन्य लोगों की स्थिति का ब्यौरा होता है।