मुरादाबाद। (Moradabad: Chargesheet filed against Sonakshi Sinha) फिल्म अभिनेत्री सोनाक्षी सिन्हा समेत पांच आरोपितों के खिलाफ  धोखाधड़ी के एक मामले में थाना कटघर पुलिस ने आरोप-पत्र (charge sheet) दाखिल कर दिया है। इस मामले में मुरादाबाद निवासी इवेंट कंपनी के मालिक प्रमोद शर्मा ने सोनाक्षी सिन्हा और उनकी टीम के खिलाफ मुकदमा दर्ज कराया था। प्रमोद का आरोप था कि सोनाक्षी सिन्हा अनुबंध करने के बाद भी दिल्ली में आयोजित होने वाले उनके कार्यक्रम में शामिल होने नहीं आयीं जबकि उन्होंने इसके लिए लाखों रुपये का भुगतान लिया था।

प्रमोद शर्मा ने करीब 15 महीने पहले सोनाक्षी के खिलाफ यह मुकदमा दर्ज कराया था। सवा साल बीत जाने के बाद भी इस मुकदमे में चार्जशीट दाखिल नहीं होने पर प्रमोद ने विरोध का नया तरीका खोज निकाला था। वह हर रोज प्रधानमंत्री, मुख्यमंत्री और बड़े अधिकारियों को ट्वीट कर रहे थे।

कटघर थाना क्षेत्र की शिवपुरी कालोनी निवासी प्रमोद शर्मा ने पंद्रह महीने पहले दिल्ली में कार्यक्रम आयोजित किया था। इसके लिए टेलेंट फुलऑन और एक्सीड एंटरटेनमेंट कंपनियों के माध्यम से सोनाक्षी सिन्हा से परफार्मेंस के लिए करार हुआ था। कार्यक्रम के लिए अलग-अलग किस्त में 29.92 लाख रुपये का भुगतान दिया। तय तारीख में सुबह फोन कर प्लेन का टिकट बुका कराया। इसके बाद भी सोनाक्षी सिन्हा नहीं आईं। इस पर प्रमोद शर्मा ने कटघर थाने में सोनाक्षी सिन्हा और टेलेंट फुलऑन एवं एक्सीड एंटरटेनमेंट कंपनियों के पांच लोगों के खिलाफ धोखाधड़ी में मुकदमा दर्ज कराया था। सोनाक्षी सिन्हा इस मामले में अपना बयान भी दर्ज करा चुकी हैं।

प्रमोद शर्मा का कहना था कि वह पुलिस य़अधिकारियों से गुहार लगाते-लगाते थक गए। कहीं से कोई राहत नहीं मिलने पर मजबूर होकर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ, डीजीपी हितेंद्र अवस्थी एवं एडीजी अविनाश चंद्र को हर रोज फेसबुक के माध्यम से और ट्वीट कर मामले की जानकारी दी। हालांकि उस दौरान भी पुलिस क्षेत्राधिकारी (सीओ) कटघर ने अधिकारियों के निर्देश पर केस में चार्जशीट दाखिल करने का भरोसा दिया था। 

सीओ कटघर पूनम सिरोही ने बताया कि धोखाधड़ी के मामले में सोनाक्षी सिन्हा समेत पांच आरोपितों के खिलाफ चार्जशीट दाखिल कर दी गई है। जांच में नामजद सभी आरोपितों की भूमिका सामने आई है। विवेचक विजेंद्र सिंह ने कहा कि उनके  पास कुछ दिन पहले ही जांच आई थी। उनसे पहले दूसरे विवेचक ने विवेचना की थी। अधिकारियों के निर्देश पर ही इस मामले में कार्रवाई की गई है।

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