कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी लंदन। कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी ने भाजपा-BJP- और आरएसएस -RSS- पर आरोप लगाते हुए कहा कि ये लोग देश को बांटने और नफरत फैलाने का काम कर रहे हैं। राहुल ने जोर देकर कहा कि कांग्रेस भारत के लोगों को जोड़ने का काम करती है। लंदन के हाउस ऑफ कॉमन्स परिसर में ‘इंडिया एंड द वर्ल्ड’ कार्यक्रम के दौरान राहुल गांधी ने शुक्रवार को कहा कि वह जो कुछ भी कहेंगे, भाजपा ने उस पर निशाना साधने का रवैया अपना लिया है। उन्होंने कहा कि मैंने आईएस के संदर्भ में कहा था कि कई तरह के विचार चारों तरफ मौजूद हैं और हमें यह सुनिश्चित करना चाहिए कि हम लोगों को एक नजरिया पेश करें अन्यथा कोई अन्य ऐसा करेगा। उन्होंने कहा कि मैंने जो कहा था भाजपा ने उसका वैसा वर्णन नहीं किया।

कांग्रेस अध्यक्ष ने कहा कि 21वीं सदी को महात्मा गांधी के करूणा और अहिंसा के संदेश से परिभाषित किया जाना चाहिए। राहुल ने कहा कि भारत और ब्रिटेन एक-दूसरे से जुड़े हुए हैं क्योंकि वे वैचारिक आधार पर लोगों से मुकाबला करते हैं। गौरतलब है कि हाउस ऑफ कॉमंस के ग्रैंड कमेटी रूम में तिब्बत के आध्यात्मिक नेता दलाई लामा, दक्षिण अफ्रीका के पूर्व राष्ट्रपति नेल्सन मंडेला भी बोल चुके हैं। राहुल ने कहा कि भले ही अंग्रेजों ने हम पर शासन किया। लेकिन वे कई विचार पीछे छोड़ कर गए जिनमें से कुछ को मजबूती दी गई।

मुस्लिम ब्रदरहुड से की RSS की तुलना

कांग्रेस अध्यक्ष ने आरएसएस की तुलना अरब जगत के इस्लामी संगठन मुस्लिम ब्रदरहुड से की। लंदन स्थित थिंक टैंक अंतरराष्ट्रीय सामरिक अध्ययन संस्थान (आईआईएसएस) को संबोधित करते हुए राहुल ने कहा कि आरएसएस भारत के स्वभाव को बदलने और संस्थाओं पर कब्जा करने की कोशिश कर रहा है। मुस्लिम ब्रदरहुड अरब जगत का 90 साल पुराना इस्लामिक संगठन है। संगठन पर हिंसक गतिविधियों में शामिल होने के आरोप लगते रहे हैं।

नोटबंदी का विचार आरएसएस से आया

नोटबंदी की आलोचना करते हुए कांग्रेस अध्यक्ष ने कहा कि इसका विचार आरएसएस से आया। उन्होंने कहा कि वित्त मंत्री और रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया की अनदेखी की गई और प्रधानमंत्री के दिमाग में यह बात डाली गई। राहुल ने कहा कि भारत की आर्थिक ताकत लाखों सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम उद्योगों में निहित है। क्योंकि वे नौकरियां पैदा करते हैं। उन्होंने कहा कि जब कोई समूचे संस्थागत ढांचे की अनदेखी करता है तो इससे भारत की ताकत बढ़ती नहीं है।

पाक और चीन पर सरकार को घेरा

कांग्रेस अध्यक्ष ने चीन और पाकिस्तान के मुद्दे पर भी सरकार को घेरा। उन्होंने कहा कि चीन के साथ गतिरोध कोई अलग मुद्दा नहीं था बल्कि एक घटनाक्रम का हिस्सा था। यदि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी सावधान रहकर पूरी प्रक्रिया पर नजर रखते तो भारत इसे रोक सकता था। राहुल ने कहा कि प्रधानमंत्री मोदी डोकाला के मुद्दे को समग्र रूप में नहीं देखते। वहीं राहुल ने कहा कि केंद्र सरकार के पास पाकिस्तान को लेकर कोई सोची-समझी रणनीति नहीं है। उन्होंने कहा कि पाक से वार्ता मुश्किल है, क्योंकि वहां कोई भी सर्वोच्च संस्था नहीं है। इमरान खान की नई सरकार की तरफ इशारा करते हुए राहुल ने कहा कि हमें तब तक इंतजार करना चाहिए जब तक वे एकजुट ढांचा नहीं बना लेते।

साथ लेकर चलने की सोच गुरुनानक से मिली

कांग्रेस अध्यक्ष ने गुरुवार रात को जर्मनी की राजधानी बर्लिन में भारतीय प्रवासियों को संबोधित करते हुए कहा था कि लोगों को जोड़ने और साथ लेकर चलने की सोच उन्हें गुरुनानक से मिली है। उन्होंने कहा कि हमारी ताकत विविधिता में एकता है। हिंदुस्तान का दर्शन यही है कि कमजोर व्यक्ति की सुनी जाए और उसकी मदद की जाए। उन्होंने कहा कि देश में किसान लगातार आत्महत्या कर रहे हैं और नौजवान बेहतर भविष्य नहीं देख पा रहे हैं।

लेबर पार्टी के वरिष्ठ नेताओं से मुलाकात की

ब्रिटेन दौरे पर पहुंचे कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी ने लेबर पार्टी के वरिष्ठ नेताओं से मुलाकात की और दोनों देशों के हितों से जुड़े मुद्दों, ब्रिटिश वीजा नीति एवं आतंकवाद के खतरे पर चर्चा की। कांग्रेस अध्यक्ष लंदन में लेबर पार्टी के सांसद बैरी गार्डिनर, वेलेरी वाज, हाउस ऑफ कॉमन में विपक्ष के नेता सर कीथ स्टारमर, सांसद गैरेथ थॉमस, स्टीफेन पाउंड, प्रीत गिल, लंदन के उप मेयर राजेश अग्रवाल तथा कई दूसरे पदाधिकारियों से मुलाकात की। इस दौरान कांग्रेस के विदेश मामलों के विभाग के अध्यक्ष आनंद शर्मा, ओवरसीज इंडियन कांग्रेस के प्रमुख सैम पित्रोदा और पूर्व सांसद मिलिंद देवड़ा मौजूद थे। एजेन्सी

error: Content is protected !!