नई दिल्ली। भाजपा सांसद रामस्वरूप शर्मा की संदिग्ध हालात में यहां मौत हो गई। पुलिस के मुताबिक, उनके स्टॉफ ने फोन कर इसकी सूचना दी। वे फंदे से लटके हुए थे और दरवाजा अंदर से बंद था। माना जा रहा है कि उन्होंने आत्महत्या की है। बुधवार सुबह उनकी मौत की जानकारी मिलते ही केंद्रीय वित्त राज्यमंत्री अनुराग सिंह ठाकुर उनके आवास पर पहुंचे। उनके निधन के कारण आज बुधवार को होने वाली भाजपा संसदीय दल की बैठक रद्द कर दी गई है।

रामस्वरूप शर्मा 2019 के आम चुनाव में हिमाचल प्रदेश के मंडी से लोकसभा के लिए निर्वाचित हुए थे। इससे पहले 2014 में भी वे मंडी से ही लोकसभा चुनाव जीते थे। उन्होंने कांग्रेस की प्रतिभा सिंह को 39,796 वोटों से हराया था।


रामस्वरूप शर्मा का जन्म 10 जून 1958 को हुआ था। वे मंडी जिला भाजपा और बाद में हिमाचल प्रदेश राज्य भाजपा के आयोजन सचिव रहे थे। उन्होंने हिमाचल प्रदेश राज्य खाद्य और नागरिक आपूर्ति निगम के उपाध्यक्ष के रूप में भी काम किया था। वे अरएसएस के सक्रिय सदस्य थे।

बीमारी की वजह से डिप्रेशन में थे
रामस्वरूप शर्मा को हृदय से संबंधित गंभीर समस्याएं थीं। उनकी एंजियोप्लास्टी भी हुई थी और चार स्टेंट डाले गए थे। बताया जा रहा है कि वे अपनी इस बीमारी की वजह से कुछ दिनों से डिप्रेशन में थे। वह  को मोदी का सुदामा बताते थे, उन्‍होंने मंडी का नाम छोटी काशी के रूप में उभारा।

उन्होंने 1985 तक नेशनल हाइड्रोइलेक्ट्रिक पावर कार्पोरेशन (NHPC) में नौकरी की थी और कबड्डी के खिलाड़ी भी रहे। चंबा में इसी दौरान वह आरएसेस से जुड़ गए और प्रचारक बन गए। उसके बाद 2014 के लोकसभा चुनाव में उन्‍हें भाजपा का टिकट मिला।

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