पणजी। तहलका मैगजीन के पूर्व प्रधान संपादक तरुण तेजपाल को यौन शोषण मामले में गोवा की अदालत ने बरी कर दिया है। तरुण तेजपाल पर अपनी महिला सहकर्मी के साथ यौन शोषण का आरोप लगा था। गोवा पुलिस ने नवंबर 2013 में एफआइआर दर्ज की थी। इसके बाद उन्हें गिरफ्तार कर लिया गया था। वह मई 2014 से जमानत पर हैं। एक जूनियर पत्रकार ने तेजपाल पर यौन शोषण का आरोप लगाया था। गोवा पुलिस की अपराध शाखा ने उनके खिलाफ एक आरोप पत्र दाखिल किया था।
ये मामला गोवा के मापुसा के सेशन कोर्ट में चल रहा था। एडिशनल जज क्षमा जोशी ने इस साढ़े सात साल पुराने केस में पिछले महीने फैसला सुरक्षित रखा था। तेजपाल के कहने पर मामले की सुनवाई बंद कमरे में की गई। इस मामले में गोवा पुलिस का पक्ष स्पेशल पब्लिक प्रोसिक्यूटर फ्रांसिस्को तवोरा ने रखा, जबकि वकील राजीव गोम्ज और आमिर खान ने कोर्ट में तेजपाल का केस लड़ा।
पहले 3 बार टला था फैसला
तेजपाल के खिलाफ दुष्कर्म के मामले में कोर्ट 27 अप्रैल को फैसला सुनाने वाली थी लेकिन जज क्षमा जोशी ने फैसला 12 मई तक स्थगित कर दिया था। फिर 12 मई को फैसला 19 मई तक के लिए टाल दिया गया था। इसके बाद फिर 2 दिन के लिए टालते हुए 21 मई को फैसला सुनाने के लिए कहा था। कोर्ट का कहना था कि कोरोना महामारी के चलते स्टाफ की कमी है इसलिए फैसला टाला जा रहा है।
क्या है मामला?
2013 में तेजपाल के साथ काम करने वाली एक युवती ने उन पर गोवा के एक फाइव स्टार होटल की लिफ्ट में रेप का आरोप लगाया था। 30 नवंबर 2013 को तेजपाल को गिरफ्तार किया गया था। इससे पहले उन्होंने अग्रिम जमानत के लिए अपील भी की थी लेकिन अदालत ने उन्हें कोई राहत देने से इन्कार कर दिया था। मई 2014 से तेजपाल जमानत पर हैं।