कारवार। रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने शुक्रवार को कर्नाटक के कारवार नेवल बेस का निरीक्षण किया। “प्रोजेक्ट सीबर्ड” के तहत विकसित किए जा रहे इस नेवल बेस का दौरा करते समय राजनाथ ने इसे एशिया का सबसे बड़ा नेवल बेस बनाए जाने का ऐलान किया।

रक्षा मंत्री ने कहा, “अभी मैं जब इस प्रोजेक्ट का हवाई सर्वेक्षण कर रहा था, तो मैं इसकी प्रगति और इसका भविष्य स्पष्ट देख रहा था। मुझे बताया गया कि इस प्रोजेक्ट में देश की पहली सी-लिफ्ट फैसिलिटी तैयार हो चुकी है। आने वाले समय में यह एशिया का सबसे बड़ा नेवल बेस बनने जा रहा है। इसके लिए मैं नौसेना परिवार और समस्त देशवासियों को अग्रिम बधाई देता हूं।”

रक्षा मंत्री ने कहा, “इस परियोजना के पूरा होने के बाद हमारी सुरक्षा तैयारियों समेत हमारे व्यापार, अर्थव्यवस्था और मानवीय सहायता अभियानों में और अधिक मजबूती आएगी। ऐसा मेरा विश्वास है। जरूरत पड़ने पर बजट को बढ़ाया जाएगा।”

रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने “प्रोजेक्ट सीबर्ड” के तहत जारी बुनियादी ढांचा विकास कार्यों की समीक्षा की। उनके साथ नौसेना प्रमुख एडमिरल करमबीर सिंह भी थे। रक्षा मंत्री और नौसेना प्रमुख की अगवानी वाइस एडमिरल आर हरि कुमार सहित अन्य वरिष्ठ अधिकारियों ने की। र7 मंत्री ने अपने दौरे पर आईएनएस कदंब हेलीपैड पहुंचने से पहले परियोजना क्षेत्र का हवाई सर्वेक्षण किया।

​दुनिया की 3 शीर्ष नौसेना शक्ति बनने का लक्ष्य

रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने कहा कि भारत अब विश्व की पांच बड़ी नौसैनिक शक्तियों में शामिल हैं। हमारा प्रयास है कि इसे अगले 10 या 12 वर्षों में शीर्ष तीन में पहुंचाने का लक्ष्य रखना चाहिए। साथ ही उन्होंने समुद्री और राष्ट्रीय सुरक्षा की बात करते हुए गोवा की स्वतंत्रता और भारत और पाकिस्तान की जंग में नौसेना द्वारा निभाई गई भूमिका का जिक्र किया।

​क्या है “प्रोजेक्ट सीबर्ड”

कारवार में भारतीय नौसेना का महत्वाकांक्षी “प्रोजेक्ट सीबर्ड” का काम चल रहा है। इसके तहत 25-30 युद्धपोतों और पनडुब्बियों और  विमानवाहक पोत को एंकर करने वाला बंदरगाह तैयार किया जा रहा है। कारवार में ही नौसेना की एकीकृत मेरीटाइम थियेटर कमांड का मुख्यालय स्थापित किया जाने की योजना है।

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