नागपुर। मुम्बई में 1993 के श्रृंखलाबद्ध बम धमाकों के सिलसिले में मौत की सजा पाने वाले एकमात्र दोषी याकूब मेमन को आज सुबह फांसी दे दी गई। इससे पहले सुप्रीम कोर्ट से राहत प्राप्त करने के उसके प्रयास विफल रहे। शीर्ष अदालत ने उसकी याचिका खारिज कर दी। शीर्ष आधिकारिक सूत्रों हवाले से मेमन को नागपुर केंद्रीय कारागार में आज सुबह सात बजे से कुछ देर पहले फांसी दे दी गई। आपको बता दें कि याकूब मेमन के एक ही नहीं बल्कि कई गुनाह है।
हैं याकूब के गुनाह :-
- 12 मार्च 1993 को हुए मुंबई ब्लास्ट का दोषी था याकूब मेमन।
- याकूब पर आरोप है की 1993 ब्लास्ट से पहले दुबई में मुंबई साजिश की मीटिंग हुई जिसमें दाऊद इब्राहिम, टाईगर मेमन के साथ याकूब भी शामिल था।
- याकूब ने एक दोषी को 85 ग्रेनेड लाकर दिए थे।
- धमाके में इस्तेमाल होने वाले 12 बम याकूब के घर पर ही बने थे।
- याकूब अपनी फर्म के जरिये टाइगर मेमन के गैर-कानूनी फाइनेंस को संभालता था।
- याकूब ने विस्फोट के लिए पैसे जुटाए थे।
- याकूब ने पाकिस्तान जाकर हथियार चलाने की ट्रेनिंग लेने वाले लोगों के लिए टिकटों की भी व्यवस्था की थी।
- याकूब के घर से ही ये बम मुंबई के अलग-अलग जगहों पर भेजे गए थे।
- मुंबई धमाकों के बाद परिवार के साथ देश से फरार हुआ था याकूब मेमन।
- याकूब हथियार चलाने वालों के लिए टिकट की व्यवस्था करता था।
एजेन्सी