लखनऊ। प्रदेश के स्वास्थ्य मंत्री सिद्धार्थ नाथ सिंह ने बताया कि सूबे के सरकारी अस्पतालों में विशेषज्ञ डॉक्टरों के 60 फीसदी पद रिक्त हैं। सपा के नितिन अग्रवाल और निर्दलीय अमनमणि त्रिपाठी के सवालों का विधानसभा में जवाब देते हुए श्री सिंह ने यह जानकारी दी। उन्होंने कहा कि उत्तर प्रदेश में 7300 विशेषज्ञ डॉक्टरों की आवश्यकता है, लेकिन फिलहाल 2970 डाक्टर ही तैनात हैं।
62 साल कर दी गयी सेवानिवृत्ति की आयु
एक अन्य सदस्य के सवाल पर स्वास्थ्य मंत्री ने कहा कि राज्य सरकार द्वारा डाक्टरों की कमी दूर करने के गंभीर प्रयास किये जा रहे हैं। डाक्टरों की भर्ती की जा रही है। कहा कि डाक्टरों की सेवानिवृत्ति की आयु 60 से बढाकर 62 साल कर दी गयी है। ऑनलाइन भर्ती शुरू की गयी है। यूपी पीएससी के जरिए 1816 डाक्टरों की भर्ती की गयी है। जल्द ही उनकी तैनाती की जाएगी।
बता दें कि इससे पहले भी उत्तर प्रदेश सरकार ने प्राइवेट अस्पतालों में काम करने वाले विशेषज्ञ डॉक्टरों को उनके मनचाहे वेतन पर सरकारी अस्पतालों में काम करने का अवसर देने की बात कही थी। इसके लिए स्वास्थ्य विभाग ने एक भर्ती एजेंसी को चुना है जो प्रदेश में विशेषज्ञ डॉक्टरों को भर्ती करेगी।
राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन के महाप्रबंधक मानव संसाधन संदीप सक्सेना ने गुरुवार को बताया कि प्रदेश के सरकारी अस्पतालों में विशेषज्ञ डॉक्टरों की काफी कमी है। प्रदेश सरकार ने राज्य में स्वास्थ्य सेवाओं को अधिक बेहतर एवं सुलभ रूप प्रदान करने हेतु 400 से अधिक एनेस्थीसिया, स्त्री-रोग विशेषज्ञ तथा बाल-रोग विशेषज्ञ के रिक्त पदो को खुले बाजार में प्रचलित ‘बिडिंग मॉडल’ व्यवस्था के माध्यम से भरे जाने का निर्णय किया है। एजेन्सी