बरेली। अभिनय को ऐसे करो जैसे यही जीवन है और जीवन को ऐसे जियो जैसे अभिनय। मनुष्य के जीवन का…
बरेली 30 जनवरी। छुआछूत, ऊंचनीच, भेदभाव, जातपात आज भी कायम है। अब ये सबकुछ नये ढंग से हो रहा है। अब…
बरेली, 29 जनवरी। कल्पना कीजिए जब देश में आजादी का आंदोलन चल रहा था। लोग अंग्रेजों को देश से निकालने…
बरेली, 28 जनवरी। ‘कहां गये मेरे उगना’। उगना यानि भगवान शिव। सत्यम, शिवम, सुन्दरम का संदेश देते इस नाटक का…