नई दिल्ली। आसाराम को नाबालिग से रेप के मामले में उम्रकैद की सजा सुनाई गई है। कोर्ट ने कहा कि वो जब तक जिंदा है तब तक उन्हें जेल में ही रहना होगा। अपने खिलाफ ये कड़ा फैसला सुनते ही आसाराम सिर पकड़कर रोने लगा।सजा सुनाए जाने के बाद उसे बैरक-2 में ले जाया गया। ये भी बताया जा रहा है कि आसाराम के कई आश्रमों पर भी ताला लगा दिया गया है। वहीं आसाराम की प्रवक्ता नीलम दुबे ने मीडिया से बात करते हुए कहा है कि वे इस फैसले के खिलाफ राजस्थान हाईकोर्ट जाएंगे।
जोधपुर सेंट्रल जेल में बनी एससी/एसटी विशेष अदालत ने नाबालिग से बलात्कार के मामले में आसाराम को उम्रकैद की सजा सुनाई।वहीं, अन्य दोषी शिल्पी और शरदचंद्र को 20-20 साल की सजा सुनाई गई। जोधपुर सेंट्रल जेल के अंदर बनी विशेष कोर्ट के जज मधुसूदन शर्मा ने अपना अहम फैसला सुनाया।आसाराम को भारतीय दंड संहिता की धारा 376 और यौन अपराध बाल संरक्षण अधिनियम (पोस्को) के तहत दोषी ठहराया गया है।
आसाराम पर नाबालिग से रेप का था आरोप
आसाराम पर उत्तर प्रदेश के शाहजहांपुर की एक नाबालिग से बलात्कार करने का आरोप था, जिसमेें वो दोषी साबित हुए. यह लड़की मध्य प्रदेश के छिंदवाड़ा में आसाराम के आश्रम में पढ़ाई कर रही थी। पीड़िता का आरोप है कि आसाराम ने जोधपुर के निकट मनई आश्रम में उसे बुलाया था और 15 अगस्त 2013 को उसके साथ दुष्कर्म किया था।आसाराम से इन आरोपों से इंकार किया था।
फैसले के खिलाफ हाईकोर्ट जाएंगे
आसाराम की सजा के ऐलान के बाद उनकी प्रवक्ता नीलम दुबे ने कहा, ‘मीडिया ट्रायल के बाद उन्होंने (आसाराम ने) इतने झटके खा लिए हैं कि अब झटके भी उनसे झटकने लगे हैं। ‘ उन्होंने कहा, हमारी लीगल टीम ने अब तक फैसले का अध्ययन नहीं किया है। टीम के अध्ययन करने के बाद ही कोई फैसला लिया जाएगा। उन्होंने कहा कि वह इस फैसले को राजस्थान हाईकोर्ट में चुनौती देंगे।